रायगढ़। ऐसी सभी धर्मार्थ संस्थाएं ( चैरेटिबल ट्रस्ट ) जो कि आयकर अधिनियम की विभिन्न धाराओं के अंतर्गत आयकर विभाग में अपना पंजीयन कराती हैं। उन्हें सीबीडीटी केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड द्वारा जारी नए नियमो के तहत अपने पंजीयन का नवीनीकरण कराने हेतु विभाग द्वारा पुन: एक अवसर 25 नवंबर तक प्रदान किया गया है।
उक्त जानकारी देते हुए आयकर अधिकारी (छूट) रणविजय कुमार ने बताया कि वित्त अधिनियम 2020- 21 के तहत भारत सरकार ने धर्मार्थ संस्थाओं के पंजीयन के लिए एक नया नियम बनाया है जिसके तहत आयकर अधिनियम की धारा 12 एबी, 80 जी, 10 (23 सी), 35(1) के अंतर्गत सभी धर्मार्थ संस्थाओं को अपना पंजीयन कराना है। संस्था चाहे नयी हो या पुरानी पंजीकृत हो दोनों को ही अनिवार्य रूप से फॉर्म नंबर 10 ए को 31 मार्च 2022 के पूर्व ई आवेदन देना था। यहां यह उल्लेखनीय है कि जो संस्थाएं पूर्व में अधिनियम की धारा 12 ए ,12 एए के तहत पंजीकृत की गई थी, उन्हें भी अब नए अधिनियम 12 बी के तहत अपना पंजीयन कराना अनिवार्य है। और इस पंजीयन को प्रत्येक 5 वर्ष की अवधि के बाद पुन: पंजीयन कराना आवश्यक है। आयकर विभाग के संज्ञान में यह आया है कि अभी भी कुछ धर्मार्थ संस्थाएं अपना फॉर्म नंबर 10 ए जो कि उन्हें 31 मार्च 2022 के पूर्व इलेक्ट्रॉनिकली भर देना था उसे नहीं भरा है इसलिए विभाग ने ऐसी संस्थाओं को एक अंतिम अवसर प्रदान करते हुए उनसे अपील की है कि वह अपना फॉर्म नंबर 10 ए आवेदन 25 नवंबर 2022 के पहले अवश्य दाखिल कर लेवें और इस छूट का लाभ उठाएं।