नई दिल्ली। हाल ही में दिल्ली में हुई हिंसा के मामले में पुलिस ने जानकारी दी है कि अब तक 1600 लोगों को गिरफ्तार किया गया है या हिरासत में लिया गया है। मामले में कुल 531 केस दर्ज हुए हैं। दिल्ली में हिंसा के दौरान घायल एक और पीड़ित ने दम तोड़ दिया। सोमवार शाम को जीटीबी अस्पताल में उपचार के दौरान 18 वर्षीय आकिब की मौत हो गई। आकिब को 24 फरवरी को जीटीबी में भर्ती कराया गया था। ऐसे में अब इस दंगे में मरने वालों की संख्या 48 हो चुकी है।
उत्तर-पूर्वी दिल्ली के जाफाराबाद, गोकलपुरी, मौजपुर, भजनपुरा, करावल नगर आदि इलाकों में 23 फरवरी को नागरिकता संशोधन कानून के समर्थकों और विरोध करने वालों के बीच में हिंसक झड़प हुई थी, जिसके बाद यह हिंसा तीन दिन तक जारी रही। हिंसा में अब तक 48 लोगों की मौत हो चुकी है। दिल्ली हिंसा में पुलिस के हेड कॉन्स्टेबल रतनलाल के अलावा, इंटेलिजेंस ब्यूरो यानी आईबी अफसर अंकित शर्मा की भी हत्या हुई है।
पश्चिमी दिल्ली में फैली थी दंगों की झूठी खबर
पश्चिमी दिल्ली के विभिन्न इलाकों में बीते रविवार को उस समय अफरा-तफरी का माहौल पैदा हो गया जब हिंसा की झूठी खबर फैली। इसके चलते दिल्ली मेट्रों ने भी बिना कारण बताए सात स्टेशनों को बंद कर दिया। हालांकि, पुलिस ने तुरंत इसका खंडन किया और लोगों से संयम बनाए रखने की अपील की। आर्ट ऑफ लिविंग के संस्थापक श्रीश्री रविशंकर ने ब्रह्मपुरी सहित कुछ दंगा प्रभावित इलाकों का दौरा किया और गत तीन दशक में हुई सबसे भीषण हिंसा में मारे गए लोगों के प्रति संवेदना जताई। उन्होंने पत्रकारों से कहा, ”यह देखना बहुत दुखद है कि इतने सारे लोग हिंसा से बुरी तरह प्रभावित हुए हैं। हमें उन्हें इस सदमे से निकालना होगा और उनके जीवन को वापस पटरी पर लाना होगा।