बिलासपुर। शासकीय जिला अस्पताल का गुरूवार की सुबह औचक निरीक्षण करने पहुंचे संयुक्त संचालक को 79 डॉक्टर ओपीडी के समय मे नदारद मिले।रजिस्टर की जांच पर पता चला कि ये डॉक्टर समय पर अपनी ड्यूटी पर पहुंचे ही नही थे।जबकि ओपीडी मे उस समय सौ से अधिक मरीज डॉक्टरों के आने का इंतजार कर रहे थे। ड्यूटी पर सही समय पर नही आने वाले डॉक्टरों को कारण बताओ नोटिस जारी कर जवाब मांगा गया है।
उल्लेखनीय है कि सरकारी अस्पतालों की ओपीडी शुरू होने का समय सुबह नौ बजे निर्धारित है। डाक्टरों को नौ बजे अपने कक्ष में पहुंचकर मरीजों का इलाज शुरू करना है। लेकिन ज्यादातर सरकारी अस्पतालों में देर से काम शुरू होता है। गुरुवार को संयुक्त संचालक डॉ. प्रमोद महाजन जिला अस्पताल मे स्वास्थ्य संबंधी व्यवस्था का जायजा लेने सुबह साढ़े नौ बजे सीधे अस्पताल की ओपीडी में पहुंचे। उस समय 100 से ज्यादा मरीज उपचार के लिए बैठे हुए थे। बताया जाता है कि उस समय तक एक भी डाक्टर अस्पताल नही पहुंचे थे। समय से कार्य पर डाक्टरों के नही आने से डॉ महाजन भड़क गए। तत्काल जाकर उन्होने हाजिरी रजिस्टर की जांच की। जिस पर उस समय तक किसी भी डाक्टर के हस्ताक्षर नहीं पाये गये।। ओपीडी में सभी डाक्टर के कक्ष खाली थे।
जिला अस्पताल में सीनियर, जूनियर मिलाकर कुल 79 डाक्टर पदस्थ हैं। ऐसे में उन्होंने खुद ही हाजिरी रजिस्टर अपने हाथ में लेकर सभी डाक्टर की अनुपस्थित दर्ज की। साथ ही उन्हे कारण बताओ नोटिस जारी कर 24 घंटे के भीतर जवाब मांगा है। जवाब संतोष जनक नही होने पर एक दिन का वेतन काटने की चेतावनी दी गई है। इससे पूर्व भी बार-बार डाक्टरों को चेतावनी दी जा चुकी है कि वे समय पर आकर मरीजों का इलाज करे। लेकिन इस चेतावनी का उन पर कोई असर दिखाई नहीं दिया। निदेर्शों को दर किनार के डॉक्टरों लेट लतिफी से आना जारी था। आज की इस कार्रवाई से अस्पताल में हडकंप मच गया।