मुंगेली/ मुंगेली जिला प्रशासन के एक बड़े अधिकारी की प्रताड़ना से तंग आकर नगर पालिका के सहायक अभियंता अयोध्या प्रसाद कश्यप ने मुख्य नगर पालिका अधिकारी को दिनांक 21.12.2020 को त्यागपत्र सौंप दिया, दिनांक 23.12.20 को उन्हें नपा से पावती भी मिल गया। CMO को दिए गए त्यागपत्र में इंजीनियर अयोध्या प्रसाद कश्यप ने स्पष्ट लिखा हैं कि जिले के प्रमुख अधिकारी (जिन्हें आप भलीभांति जानते हैं) द्वारा उन्हें लगातार प्रताड़ित करने, शोषण करने, उनका लगातार अपमान करने, मरवाने पिटवाने की बाते करने, कूट रचना करने, नियम विरुद्ध प्रभार देने तथा नियम विरूद्व कार्य करने के लिये मजबूर करने के कारण उनका नौकरी कर पाना मुश्किल हो गया हैं, उक्त प्रमुख अधिकारी द्वारा सार्वजनिक रूप से अत्यधिक अपमानित एवं प्रताड़ित किया गया एवं मरवाने पीटवाने की धमकी दी गई, उन्हें सेवा से त्याग पत्र देने कहा गया है, त्यागपत्र में इंजीनियर ने आगे लिखा कि उनकी उम्र लगभग 60 वर्ष हो गई हैं फिर भी उम्र का ख्याल भी नही रखा जाता तथा दिनांक 22.12.2020 से ही उन्हें नगर पालिका परिषद मुंगेली की सेवा से मौखिक निर्देशानुसार पृथक कर घर बिठा दिया गया हैं। इस प्रकार के शोषण, अपमान, मरवाने, पिटवाने के धमकी देने के कारण वे भयभीत हैं और अपने जीवन रक्षा के लिए अपने पद से त्यागपत्र दे रहे है।
सहायक अभियंता अयोध्या प्रसाद कश्यप के इस त्यागपत्र के मिलते ही दिनांक 29.12.2020 को मुख्य नगर पालिका अधिकारी ने संचालक, संचालनालय नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग को पत्र भेज उक्त त्यागपत्र के परिपालन के सम्बंध में अग्रिम कार्यवाही करने कहा गया हैं।
सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार अभी हाल ही में प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल का आगमन होना था, जिसमें उनके द्वारा मुंगेली के बहुप्रतीक्षित गार्डन का उद्घाटन किया जाना था, जिसके चलते मुंगेली जिला प्रशासन का रवैया काफी सख्त देखा गया था, प्रशासनिक तैयारियां भी जोरों पर थी, गार्डन को तैयार करने अधिकारी, कर्मचारी रात दिन एक कर दिए थे, बावजूद इसके जिला प्रशासन के प्रमुख अधिकारी द्वारा बैठक के दौरान ही नगर पालिका के अधिकारियों को अपने प्रशासनिक धमकी लहजे में जो भी मुंह में आया बोलते गए, हालांकि त्यागपत्र देने वाले इंजीनियर ने उस अधिकारी का नाम नहीं बताया, परंतु उनका त्यागपत्र उस अधिकारी के मानसिकता को पूरी तरह बयां करता हैं, जिले का प्रमुख अधिकारी कौन होता हैं यह बात सभी जानते हैं और मुख्यमंत्री के आगमन पर प्रशासनिक रूप से संपूर्ण जवाबदारी भी उन्हीं की मानी जाती हैं, पर अधिकारी हो चाहे कर्मचारी उन्हें अपनी मर्यादा में रहकर जनहित व विकास कार्यो में अपनी भूमिका निभानी चाहिए परंतु मुंगेली में ऐसा देखने को नहीं मिलता, पहले से ही नगर पालिका इंजीनियर की कमी से जूझ रही हैं ऊपर से एक और इंजीनियर के इस्तीफा देने से नगर पालिका के कार्य निश्चित रूप से प्रभावित होंगे क्योंकि नगर पालिका से प्राप्त जानकारी के अनुसार सेटअप के अनुसार यहां 4 इंजीनियर होने चाहिए पर एक प्रभारी इंजीनियर बस हैं, और एक सहायक अभियंता अयोध्या प्रसाद ने इस्तीफा दे दिया हैं, ऐसे हालात में अब नपा में केवल एक इंजीनियर बच जाएंगे और वो भी प्रभारी। ऐसे में जनप्रतिनिधियों को चाहिए कि मामले को संज्ञान में लेकर त्वरित कार्यवाही करें। त्यागपत्र में इंजीनियर की शिकायत को गंभीरता से लेते हुए उच्चाधिकारियों को चाहिए कि मामले की सूक्ष्म जांच की जाए, उसके उपरांत ही कोई कार्यवाही करें।