नई दिल्ली। कोरोना महामारी के बीच कोविड टीका को लेकर खुशखबरी आई है। एक भारतवंशी युगल कोविड का टीका लगवाने वाले दुनिया के पहले दंपती बन गए हैं। जानकारी के मुताबिक 87 वर्षीय डॉ. हरि शुक्ला और उनकी 83 वर्षीय पत्नी रंजन शुक्ला को न्यू कैसल के एक अस्पताल में फाइजर/बायोएनटेक के टीके का पहला डोज दिया गया।
ब्रिटेन में कोविड टीका लगने का आगाज मंगलवार से हो गया। इस क्रम में एक भारतवंशी युगल ने कोविड का टीका लगवाया। पहला कोरोना टीका कोवेंटरी की 90 वर्षीय मार्गारेट मैगी कीनान को लगा। दूसरे नंबर पर वार्विकशायर बाद 81 वर्षीय विलियम शेक्सपियर को टीके का इंजेक्शन लगाया गया। इनके बाद शुक्ला दंपती को टीका लगा।
पूर्वोत्तर ब्रिटेन में रहने वाले शुक्ला दंपती का चयन ब्रिटेन की राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा यानी एनएचएस द्वारा 80 व उससे अधिक उम्र वाली श्रेणी में पिछले हफ्ते ही किया गया था। सबसे पहले डॉ. हरि शुक्ला को चुना गया। इसके बाद उनकी पत्नी रंजन ने भी टीके के लिए आवेदन किया, क्योंकि वह भी इसी आयुवर्ग में आती हैं। एनएचएस ने पति पत्नी को चुन लिया और उन्हें टीके की पहली खुराक दी गई।
बताया जाता है डॉ. हरि शुक्ला का जन्म यूं तो केन्या में हुआ था, लेकिन उनके तार मुंबई से जुड़े हैं। उनके पिता मुंबई के रहने वाले थे। डॉ. हरि शुक्ला टाइन एंड वियर रंगभेद समानता परिषद के निदेशक रह चुके हैं और उन्हें रंगभेद खत्म करने की दिशा में किए गए कामों के लिए एमबीई, ओबीई और सीबीई से सम्मानित किया जा चुका है. एनएचएस ने उनके योगदान को देखते हुए पहले चरण में टीका लगाने के लिए उनका चयन किया।
00 महामारी का होगा अंत
डॉ हरि शुक्ला ने कहा कि ‘महामारी का अंत होगा ऐसी उम्मीद जगी है। टीका लगवाकर ऐसा अहसास हो रहा है कि समाज से वायरस का सफाया करने में मैंने अपनी जिम्मेदारी निभाई है। एनएचएस की टीम कड़ी मेहनत कर रही है और यह सराहनीय है। हमें महामारी में सुरक्षित रखने के लिए मैं उनका आभार व्यक्त करता हूं।