अमित जोगी पर गंभीर आरोप, पत्नी के साथ अभद्र व्यवहार
लोरमी विधायक ने कह- मैं जहां भी जाऊंगा खुलेआम जाऊंगा
मैं उसका गुलाम नहीं हूं, जो करना होगा खुलेआम करुंगा
धर्मजीत सिंह ने कहा, अमित जोगी की जितनी उम्र है उससे अधिक साल से मैं राजनीति कर रहा है।*
छह बार विधानसभा का चुनाव लड़ा हूं। चार बार का विधायक हूं। उस व्यक्ति को उम्र की मर्यादा नहीं। महिलाओं के प्रति उसके मन में सम्मान नहीं। धर्मजीत सिंह ने कहा, एक व्यक्ति उनकी पत्नी से ऐसे बदतमीजी से बात करे तो ऐसी विधायकी को मैं 100 बार ठुकराना पसंद करुंगा लेकिन सम्मान से समझौता नहीं। उन्होंने कहा, मैं उसका गुलाम नहीं हूं। जो करना है खुलेआम करुंगा। कहीं न कहीं तो जाना पड़ेगा न, ऐसे चौराहे पर तो नहीं बैठूंगा
धर्मजीत सिंह ने कहा, अब कहीं न कहीं तो जाना पड़ेगा न। ऐसे चौराहे पर तो नहीं बैठा रहूंगा। जहां भी जाउंगा खुलेआम जाउंगा। सबको बताकर जाउंगा। प्रमोद शर्मा ने कहा, वे खुली चुनौती दे रहें हैं कि अमित जोगी में हिम्मत है तो उन्हें भी निष्कासित कर दें। यह पूछने पर की आप खुद ही इस्तीफा क्यों नहीं दे देते। प्रमोद शर्मा ने कहा, संवैधानिक बंधन है। दो तिहाई रहते तो यह हो जाता। अब दो ही बचे हैं, इस्तीफा देकर गया तो मामला फंस जाएगा।
रायपुर। अपनी पार्टी से निकाले जाने के बाद धर्मजीत सिंह ने आज अमित जोगी पर गंभीर आरोप लगाए हैं. यहां तक कहा है कि उनकी हत्या हो सकती है. मेरी ही पार्टी के पदाधिकारी ने मेरी पत्नी के साथ अभद्र व्यवहार किया.
आज यहां पत्रकारों से चर्चा करते हुए लोरमी के विधायक धर्मजीत सिंह ने कहा कि
जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़-से विधायक धर्मजीत सिंह के निष्कासन के बाद दूसरे विधायक प्रमोद शर्मा भी नेतृत्व के खिलाफ खुलकर आ गए हैं। धर्मजीत सिंह और प्रमोद शर्मा ने सोमवार को सार्वजनिक तौर पर कह दिया कि अजीत जोगी की पार्टी जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ अब खत्म हो गई है। दोनों ने इसके लिए पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष अमित जोगी को जिम्मेदार ठहराया। धर्मजीत सिंह ने आरोप लगाया,अमित जोगी ने अगस्त में उनकी पत्नी को फोन कर गाली-गलौज किया था। उनका निष्कासन उसी बात को दबाने के लिए किया गया है। विधायक धर्मजीत सिंह ने सोमवार को कहा, पहले क्या हुआ यह मैं नहीं जानता लेकिन अब मुझ पर कातिलाना हमले होंगे। मेरी हत्या भी कराई जा सकती है। रायपुर प्रेस क्लब में लोरमी विधायक धर्मजीत सिंह और बलौदा बाजार विधायक प्रमोद शर्मा एक साथ आए। धर्मजीत सिंह ने कहा, उनकी पत्नी विशुद्ध रूप से गृहिणी हैं। उनका मेरी राजनीति से कोई लेना-देना भी नहीं है। इसके बाद भी 28 अगस्त को अमित जोगी ने उनकी पत्नी को फोन किया। बदतमीजी की जितनी सीमा वे लांघ सकते थे, वह लांघी। मेरी पत्नी के साथ गंदे शब्दों का इस्तेमाल किया। मेरे प्रति भी गंदे शब्दों का इस्तेमाल किया। उनकी नाराजगी इस बात की थी कि अमित शाह के कार्यक्रम में मैं और प्रमोद शर्मा क्यों गए थे। अगर कोई बात थी तो यह मुझसे करनी चाहिए थी। इस बातचीत के बाद अमित जोगी ने वॉट्सएप पर एक संदेश भेजा। लिखा- मुझे सूचना मिली है कि स्वर्गीय अजीत जोगी जी की पार्टी के दो विधायक धर्मजीत सिंह और प्रमोद शर्मा ने कल अमित शाह से मिलकर उनके साथ विलय करने की पेशकस की है। अमित शाह ने उनकी इस पेशकस को सिरे से उसकी जानकारी मुझे दी है। क्योंकि भाजपा को ज्ञात है कि बिना जोगी के दोनों तथाकथित हीरो, जीरो हैं। ऐसे गद्दारों को मैं पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष की हैसियत से तत्काल पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से बर्खास्त करता हूं।
प्रमोद शर्मा ने कहा-मैं धर्मजीत के साथ
जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ में संभावित बगावत को कुचलने का अभियान जारी है। विधायक दल के नेता धर्मजीत सिंह को निकालने के बाद पार्टी ने उनके चार घनघोर समर्थकों को भी बाहर का रास्ता दिखा दिया है। इधर, पार्टी के दूसरे विधायक प्रमोद शर्मा भी खुलकर धर्मजीत सिंह के समर्थन में आ गए हैं। उन्होंने कहा कि यह बिल्कुल गलत हुआ है।
पार्टी मुझे भी निकालना चाहती है तो निकाल दे। बलौदाबाजार से जेसीसीजे विधायक प्रमोद शर्मा ने कहा,धर्मजीत सिंह को छह साल के लिए पार्टी से निकाल दिया गया है।
इस खबर से मैं बहुत दुखी हूं। बिना बैठक के, बिना किसी की सहमति के इस प्रकार का निर्णय लेना बहुत ही गलत है। प्रमोद शर्मा ने कहा, मैं पूरी तरीके से धर्मजीत सिंह के साथ में हूं। अमित जोगी जी जो बाथरूम में बैठकर इस प्रकार का फैसला ले रहे हैं, वह नाजायज है। गलत है। मैं इसका विरोध करता हूं। अगर पार्टी मुझको भी निकालना चाहती है तो निकाल सकती है। वह स्वतंत्र है। प्रमोद शर्मा ने दोहराया कि वे धर्मजीत सिंह के साथ हैं और साथ ही रहेंगे।
जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के कोर ग्रुप ने रविवार देर शाम पार्टी विधायक दल के नेता धर्मजीत सिंह को निष्कासित कर दिया था। पार्टी की केंद्रीय अध्यक्ष डॉ. रेणु जोगी को उनकी जगह पर विधायक दल का नेता चुना गया। पार्टी सूत्रों का कहना था, धर्मजीत सिंह और प्रमोद शर्मा मिलकर पार्टी का भाजपा के साथ विलय की कोशिश में थे। इसको रोकने के लिए पार्टी ने यह कदम उठाया है। फिलहाल घोषित रूप से धर्मजीत सिंह पर एससी, एसटी, ओबीसी समुदाय की अनदेखी और पार्टी के मूल सिद्धांतों के खिलाफ काम करने का आरोप लगाया गया।