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मुंगेली/ जिला मुख्यालय एवं उसके आसपास क्षेत्रों में कृषि भूमि की बड़े पैमाने पर अवैध प्लाटिंग कर बिना डायवर्सन के खरीद बिक्री करने का गोरखधंधा तेजी से पनप रहा हैं, जिस पर प्रशासनिक अंकुश नहीं लग सका हैं। मुंगेली जिले में कई भू माफिया सक्रिय हैं परंतु अब एक नए भूमाफिया का नाम सुनने को मिल रहा हैं जो मुंगेली क्षेत्र में काफी चर्चित हैं जो पेशे से मुंगेली शहर का एक बड़ा कपड़ा व्यवसायी हैं, हालांकि सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार यह भूमाफिया पर्दे के पीछे रहकर जमीन का कारोबार करता हैं, और दस्तावेजों में खुद के नाम से परहेज करता हैं और बड़े बड़े जमीन की खरीदफरोख्त कर उसे अपने एक खास कांग्रेस नेता को अवैध प्लाटिंग के कारोबार में लगा बड़ा मुनाफा कमाया जाता हैं जिससे भूपेश सरकार को राजस्व क्षति पहुंच तो रही हैं साथ ही जमीन खरीददारों के साथ छल भी हो रहा हैं क्योंकि उन्हें मूलभूत सुविधाओं के अलावा नामांतरण में भी काफी तकलीफ हो रही हैं। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार अभी हाल ही में इस भूमाफिया और उसके जमीन दलालों द्वारा रामगढ़ क्षेत्र में वृद्धाश्रम के पास लालकापा रोड में अवैध प्लाटिंग की जा रही हैं, और संबंधित अधिकारी आंखें मूंदे बैठे हैं। जमीन के इस अवैध कारोबार में राजस्व विभाग की कथित सांठगांठ से हो रहे अवैध प्लाटिंग मामले में प्रशासनिक उदासीनता से जिला प्रशासन की भूमिका पर भी सवालिया निशान लग रहा है ? शहर से लेकर गांव तक अनुमति के बगैर जमीन की अफरा तफरी को अंजाम दिया जा रहा और मुरुम डाल कर अवैध प्लाटिंग की जा रही हैं। जानकारी के मुताबिक टाउन एंड कंट्री प्लानिंग के बिना कई एकड़ खेती वाली जमीन बेची जा रही है। जिला प्रशासन की उदासीनता की वजह से अवैध प्लाटिंग करने वाले भू माफियाओं के हौसले बुलंद हैं।
आसपास गांवों में कालोनाइजर एक्ट की धज्जियां उड़ाते हुए भू माफियाओं ने कृषि भूमि को बिना डायवर्सन कराए प्लाटिंग कर बेच दी है और बेचने का सिलसिला जारी भी है, अवैध प्लाटिंग के इस गोरखधंधे में भूमाफिया मालामाल हो रहे है। किसानों को झांसे में लेकर कम दाम में जमीन का सौदा कर बगैर प्रशासनिक अनुमति के अवैध प्लाटिंग की जा रही है। जानकारी के मुताबिक अवैध प्लाटिंग का काम जो जमील दलाल कर रहे हैं, उनका रेरा में पंजीयन तक नहीं हैं।
भुपेश सरकार को भारी राजस्व का नुकसान…
जमीन दलाल असली भूस्वामियों से एकड़ के भाव में जमीन का एग्रीमेंट कर उसे वर्गफीट के हिसाब से बेचते हुए करोड़ो रुपये की चपत सरकार को लगा रहे हैं। लोगों को धोखे में रखकर अवैध तरीके से प्लॉट बेचा जा रहा है। भू माफिया और जमीन दलाल जमीन को मनमाने कीमत पर बिक्री कर मालामाल हो रहे हैं। प्लाट खरीदने वालों के साथ तो धोखाधड़ी, छल हो ही रही हैं, साथ ही राज्य शासन को राजस्व का भी चूना लग रहा है। इस अवैध कारोबार में कथित राजस्व अमले की भूमिका संदिग्ध नजर आती है और कार्यवाही करने प्रशासनिक अधिकारियों के हाथ पांव फूलने लगते हैं। बहरहाल अब देखना हैं कि संबंधित अधिकारियों की नींद अवैध प्लाटिंग मामले में खुलती हैं या नहीं…? भारत भास्कर के पास ऐसे साक्ष्य मौजूद है जिससे इस कपड़ा व्यवसायी की करतूतें बेनकाब हो जाएंगी, जिससे यह भुपेश सरकार को राजस्व का चूना लगा रहा, जल्द ही पढ़े आगामी अंक में…