रांची.
भाजपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने झारखंड सरकार की हाल ही में शुरू की गई मुख्यमंत्री मैया सम्मान योजना को राज्य की महिलाओं के साथ विधानसभा चुनाव से पहले किया गया छलावा करार दिया। मुंडा ने कहा कि सत्तारूढ़ झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) ने 2019 के विधानसभा चुनाव से पहले अपने घोषणापत्र में इस योजना का वादा किया था और अगर वह इसके प्रति ईमानदार हैं तो उसे पूरे कार्यकाल की राशि एक ही किस्त में देनी चाहिए।
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री मुंडा ने कहा कि सरकार को एक किस्त में 60,000 रुपये भेजने चाहिए नहीं तो भाजपा अपने वादे से पीछे हटने के लिए राज्य सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करेगी। उन्होंने कहा कि हेमंत सोरेन के नेतृत्व वाली सरकार दिसंबर 2019 में बनी थी और अगर सरकार ईमानदार है, तो उसे माताओं और बहनों से किए गए वादे के अनुसार जनवरी 2020 से अब तक की देय राशि का एक किस्त में भुगतान करना चाहिए और उनके बैंक खातों में 60,000 रुपये जमा कराने चाहिए। मुंडा ने सवाल उठाते हुए कहा, ‘‘इस साल के अंत में होने वाले विधानसभा चुनाव से कुछ महीने पहले ही झारखंड सरकार ने यह योजना क्यों शुरू की?’’ उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की मंशा साफ नहीं है और जुलाई-अगस्त में शुरू की गई योजना का उद्देश्य विधानसभा चुनावों में सियासी फायदा हासिल करना है।
'एक भी वादा पूरा नहीं कर पाई है झामुमो सरकार'
भाजपा नेता ने आरोप लगाया कि झारखंड सरकार ने 2019 के विधानसभा चुनाव से पहले किए गए वादों में से एक भी वादे को पूरा नहीं किया, चाहे वह युवाओं को बेरोजगारी भत्ता देना हो या किसानों से फसल खरीदना हो। झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन के भाजपा में शामिल होने के बारे में पूछे जाने पर मुंडा ने कहा कि उनके अनुभव से संगठन को और मजबूती मिलेगी तथा पार्टी कार्यकर्ता इस घटनाक्रम से उत्साहित हैं।