इंदौर
देश के सबसे स्वच्छ शहर इंदौर में कम से कम 64 करोड़ रुपये के ड्रेनेज घोटाले की जांच कर रही पुलिस ने सात आरोपियों के बैंक खातों से लेन-देन पर रोक लगा दी है। पुलिस के एक अधिकारी ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी।
पुलिस उपायुक्त (डीसीपी) पंकज कुमार पांडे ने बताया कि जिन सात आरोपियों के बैंक खातों से लेन-देन पर रोक लगाई गई है, उनमें पांच ठेकेदार और इंदौर नगर निगम के दो कारिंदे शामिल हैं।
पांडे ने बताया कि इन बैंक खातों में कुल 1.13 करोड़ रुपये जमा मिले हैं।
उन्होंने बताया, ‘‘अब तक की जांच में पता चला है कि गुजरे बरसों के दौरान शहर में ड्रेनेज लाइन बिछाने के नाम पर ठेकेदारों की 10 फर्मों ने इंदौर नगर निगम में लगभग 64 करोड़ रुपये के फर्जी बिल पेश किए। इनमें से 47.53 करोड़ रुपये के बिलों का भुगतान भी कर दिया गया।’’
डीसीपी के मुताबिक, पुलिस को छानबीन में मालूम हुआ कि जिन ड्रेनेज लाइन के नाम पर सरकारी खजाने से ठेकेदारों का भुगतान किया गया, वे हकीकत में कभी बिछाई ही नहीं गई थीं।
उन्होंने बताया कि ड्रेनेज घोटाले में अब तक आठ ठेकेदारों और इंदौर नगर निगम के आठ कर्मचारियों को गिरफ्तार किया गया है।
पांडे ने बताया कि पुलिस इस मामले की विस्तृत जांच कर रही है।