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विद्युत चोरी के मामले में 4 आरोपियों को एक-एक वर्ष का सश्रम कारावास

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विद्युत चोरी के मामले में 4 आरोपियों को एक-एक वर्ष का सश्रम कारावास

भोपाल

मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के पिछोर, शिवपुरी के बामोर फीडर के बामोर डामरौन गाँव निवासी स्व. आसाराम के यहाँ अनाधिकृत रूप से बिजली उपयोग के निरीक्षण के दौरान आरोपी साबी, अर्जुन, मुलायम एवं लालाराम द्वारा विद्युत कर्मचारियों के साथ मारपीट एवं शासकीय कार्य में बाधा डालने के आरोप में अपर सत्र न्यायालय ने एक-एक वर्ष के सश्रम कारावास की सजा सुनाई।

गौरतलब है कि आरोपी स्व. आसाराम के यहाँ फरियादी जूनियर इंजीनियर सुमित वर्मा की सूचना पर कम्पनी के निरीक्षण दल ने 12 फरवरी 2021 को दोपहर 11:30 बजे जूनियर इंजीनियर मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी भौंती ने लाइन स्टॉफ नाथूराम धौलपुरिया, रामेश्वर शर्मा, रीडर विजय कोली, नीरज कुशवाहा एवं अन्य कर्मचारी के साथ निरीक्षण करने पर पाया कि उपभोक्ता द्वारा एक कनेक्शन की मोटर से दूसरी मोटर चोरी से चलाई जा रही है। पकड़े जाने पर विद्युत अधिनियम-2003 के अंतर्गत प्रकरण दर्ज करने तथा विद्युत तार उतरवाने एवं मोटर जब्त करने पर आरोपी साबी, अर्जुन, मुलायम एवं लालाराम द्वारा कर्मचारियों के साथ मारपीट की गई।

कंपनी द्वारा प्रकरण को अपर सत्र न्यायाधीश पिछोर (शिवपुरी) के समक्ष प्रस्तुत किया गया। प्रकरण में माननीय अपर सत्र न्यायाधीश, पिछोर द्वारा साबी, अर्जुन, मुलायम एवं लालाराम को दोषी करार देते हुए एक-एक वर्ष की सश्रम कारावास से दण्डित किया गया।

ऊर्जा हानियों का स्तर कम किया जाए: प्रबंध संचालक

भोपाल

ऊर्जा हमारे जीवन की अनिवार्य आवश्यकता है। ऊर्जा ने विभिन्न रूपों में हमारी जीवन-शैली में महत्वपूर्ण स्थान बना लिया है। इन विभिन्न रूपों में बिजली, ऊर्जा का वह प्रकार है जो सुगमता से उपलब्ध है। यही कारण है कि ऊर्जा के विभिन्न स्त्रोतों को भी बिजली में बदलकर उसका उपयोग प्रकाश, यातायात, आवास, स्वास्थ्य, शिक्षा, उद्योग, कृषि जैसी मूलभूत आवश्यकताओं के साथ मनोरंजन, दूरसंचार एवं पर्यटन जैसे सुख-साधन में भी किया जा रहा है। यह संदेश मध्य प्रदेश मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के प्रबंध संचालक गणेश शंकर मिश्रा ने राष्ट्रीय ऊर्जा संरक्षण सप्ताह (14 से 21 दिसम्बर) के अंतर्गत उपभोक्ताओं को जागरूक करने के लिए जारी किया है।

प्रबंध संचालक ने बताया है कि ऊर्जा बचत और ऊर्जा दक्षता के लाभों को ध्यान में रखते हुए राज्य शासन ने मध्यप्रदेश में ऊर्जा संरक्षण के विभिन्न उपाय लागू करने के लिए दिशा-निर्देश जारी किए हैं। भारत शासन के ऊर्जा मंत्रालय के अधीन स्वायत्तशासी निकाय ‘‘ऊर्जा दक्षता ब्यूरो‘‘ ने विभिन्न क्षेत्रों में ऊर्जा बचत को ध्यान में रखते हुए योजनाएं प्रारंभ की हैं। ऊर्जा दक्षता ब्यूरो द्वारा विभिन्न उपकरणों में ऊर्जा दक्षता की रेटिंग के लिए बीईई स्टार लेबल जारी किए हैं। यह स्टार लेबल ऊर्जा दक्षता के रेटिंग के मानकीकरण और मानक परीक्षण परिस्थितियों में ऊर्जा की खपत को इंगित करने के लिए बनाये गये हैं। रेफ्रिजरेटर, एयर कंडीशनर तथा अन्य ऊर्जा उपकरण खरीदते समय आपने इन बीईई स्टार लेबल को अवश्य देखा होगा, 5 स्टार का मतलब सबसे अधिक ऊर्जा दक्ष उपकरण और उससे कम स्टार पर उससे कम दक्ष उपकरण। अधिक ऊर्जा दक्ष उपकरण से ऊर्जा खपत में अधिक कमी कर धनराशि को बचाया जा सकता है।

मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी ने बताया है कि एक अनुमान के अनुसार विद्युत के गुणवत्तापूर्ण उपयोग तथा उचित प्रबंधन और अनावश्यक उपयोग पर अंकुश लगाकर औद्योगिक क्षेत्र में 20 से 25 प्रतिशत, कृषि क्षेत्र में 25 से 30 प्रतिशत तथा घरेलू एवं वाणिज्यिक क्षेत्र में 15 से 20 प्रतिशत तक बिजली की बचत की जा सकती है। यदि हम ऊर्जा हानियों में कमी ला सकें और उपभोक्ताओं को ऊर्जा संरक्षण के लिए प्रेरित कर सकें, तो प्रदेश का हित ऊर्जा क्षेत्र में और अधिक कर सकते हैं।

डॉ. कुसमरिया ने राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग में किया अध्यक्ष का कार्यभार ग्रहण

भोपाल
डॉ. रामकृष्ण कुसमरिया ने आज भोपाल के श्यामलाहिल्स मध्यप्रदेश राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग पहुँच कर अध्यक्ष पद का कार्यभार ग्रहण किया। इस मौके पर पिछड़ा वर्ग से जुड़े जन-प्रतिनिधि भी मौजूद थे।

डॉ. कुसमरिया को राज्य शासन ने मध्यप्रदेश राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग का अध्यक्ष नियुक्त किया था। कार्यभार ग्रहण करने के बाद डॉ. कुसमरिया ने आयोग की गतिविधियों के बारे में जानकारी प्राप्त की। आयोग मुख्य रूप से प्रदेश में पिछड़ा वर्ग के लिये हितप्रहरी के रूप में कार्य करता है। इसके साथ ही आयोग राज्य की सामाजिक व शैक्षणिक रूप से पिछड़ा वर्ग जातियों की सूचियों में जातियों को जोड़ने एवं विलोपित करने की अनुशंसा राज्य शासन को भेजता है। प्रदेश में कुल आबादी का एक बड़ा हिस्सा पिछड़ा वर्ग से संबंधित है।

जिला स्तर पर करेंगे समीक्षा

कार्यभार ग्रहण करने के बाद डॉ. कुसमरिया ने कहा कि वे शीघ्र ही जिलों का दौरा कर पिछड़ा वर्ग के कल्याण से संबंधित योजनाओं की समीक्षा करेंगे। इसके साथ ही वे पिछड़ा वर्ग से जुड़े स्थानीय जन-प्रतिनिधियों से चर्चा कर उनकी दिक्कतों को समझेंगे और सुझाव प्राप्त करेंगे।