नई दिल्ली
भारत में इजरायल के राजदूत नाओर गिलोन ने मुंबई में 26/11 के आतंकवादी हमले को एक भयानक घटना बताते हुए इसकी तुलना हमास के हमलों से की है। उन्होंने आतंकवाद पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान को भी दोहराया। साथ ही कहा कि आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में इजरायल हमेशा भारत के साथ खड़ा है। मुंबई आतंकी हमले की तुलना 7 अक्टूबर को इजराइल में हमास आतंकवादियों के अचानक हमले से करते हुए गिलोन ने कहा, “यह एक भयानक घटना है। आतंकी मुंबई में लोगों के सुरक्षित आश्रय और जीवन को बाधित करने के लिए आए थे। वे दहशत चाहते थे। वे इसे प्रसारित करना चाहते थे। हमास की तरह उनका उद्देश्य न केवल हत्या करना है, बल्कि जीवित बचे लोगों में दहशत पैदा करना औकर उन्हें डराना भी है।”
इजरायल और हमास का युद्ध 7 अक्टूबर को शुरू हुआ। फिलिस्तीन का आतंकवादी समूह गाजा को नियंत्रित करता है। उसके लड़ाकों ने सीमा पार करके दक्षिणी इजरायल में कम से कम 1,200 लोगों की हत्या कर दी। कई आम नागरिक मारे गए। महिलाओं, बच्चों और वृद्ध लोगों सहित लगभग 240 लोगों का अपहरण कर लिया। इसके बाद इजरायल ने गाजा शहर पर हमला कर दिया।
आज मुंबई में 26/11 के आतंकवादी हमले की 15वीं बरसी है। इस मौके पर गिलोन ने समाचार एजेंसी एएनआई को बताया कि आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में कोई अगर या मगर नहीं है और देश इस खतरे को खत्म करने के लिए मिलकर काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा, “हम भारतीयों को यह बताना चाहते हिए भारत हमेशा इजराइल के साथ खड़ा है। जब भी हमें जरूरत होगी भारत हमारे साथ है। भारतीयों को यह जानना होगा कि इजरायल भी हमेशा भारत के साथ खड़ा है। जब आप आतंकवाद से लड़ने आते हैं तो कोई किंतु-परंतु नहीं होता। हम मिलकर काम कर रहे हैं। हम आतंकवाद को खत्म करेंगे।"
आपको बता दें कि मुंबई हमले के दौरान मारे गए 166 लोगों में छह यहूदी भी शामिल थे। हाल ही में इजरायल ने आधिकारिक तौर पर लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) को एक आतंकवादी संगठन के रूप में घोषित किया। यह कार्रवाई भारत सरकार के अनुरोध के बिना की गई है। गिलोन ने कहा कि भारत और इजराइल अपने कार्यों और मित्रता में आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई का प्रदर्शन करते हैं।
उन्होने कहा, "पीएम मोदी ने सही कहा था कि आतंकवाद एक वैश्विक घटना है। आपको विश्व स्तर पर हाथ मिलाना होगा। देशों और दुनिया के स्वतंत्र लोगों को इससे लड़ने के लिए हाथ मिलाना होगा और प्रयास करना होगा। मुझे लगता है कि भारत और इजरायल हमारे कार्यों में इस बात को प्रदर्शित करते हैं। हम साथ मिलकर जो करते हैं उसमें दोस्ती है। आतंकवाद को खत्म करने के लिए हम साथ मिलकर काम कर रहे हैं।''
26 नवंबर 2008 को क्या हुआ था?
26 नवंबर 2008 को 10 आतंकवादियों के एक समूह द्वारा मुंबई में अलग-अलग जगहों पर हमला किया गया था। मुंबई की सड़कों पर इन आतंकियों ने भारी तबाही मचाई। इस हमले ने देश और दुनिया को सदमे में डाल दिया। लश्कर आतंकी समूह के आतंकवादियों ने 26 नवंबर की रात को मुंबई शहर में प्रवेश किया था। उन्होंने चार दिनों तक 166 लोगों की हत्या कर दी थी और 300 से अधिक लोगों को घायल कर दिया था।