नई दिल्ली। जम्मू कश्मीर में आतंकियों की घुसपैठ की ज्यादातर कोशिश नाकाम होने के बावजूद पाकिस्तान अपनी हरकत से बाज नहीं आ रहा है। घुसपैठ के लिए पिछली साल की तुलना में इस साल करीब 75 फीसदी से ज्यादा कवर फायर पाक सेना व पाक रेंजर्स की ओर से किए गए हैं। जुलाई तक के उपलब्ध आंकड़ों के मुताबिक करीब 487 कवर फायर की घटनाएं सीमा पर हुईं। जबकि गत वर्ष इसी अवधि में ये आंकड़ा 267 के आसपास था। हालांकि, सतर्क रणनीति से पाकिस्तान के इरादे कामयाब नहीं हो रहे हैं। सतर्क रणनीति के चलते ही पंजाब बॉर्डर पर बीएसएफ ने शनिवार को पांच आतंकियों को मार गिराया।
00 सीमा में घुसते ही मारने की रणनीति :
अधिकारियों का कहना है कि इस साल मुस्तैदी के चलते सीमा पर ही दर्जन भर से ज्यादा आतंकियों को मार गिराया गया है। सात इनकाउंटर एकदम सीमा से आतंकियों के प्रवेश करते ही किए गए हैं। सीमा पर खुफिया तंत्र और सुरक्षा बलों के आपसी समन्वय का परिणाम नजर आ रहा है। इस साल पाकिस्तान ने सीमा पर हर वक्त 250 से 300 आतंकियों को लांच पैड पर घुसपैठ के लिए बनाए रखा, लेकिन करीब 30 आतंकी ही घुसपैठ में सफल हो पाए। पिछले वर्ष यह संख्या लगभग दोगुनी थी।
00 सीमा पर नापाक नजर :
सुरक्षा बल से जुड़े सूत्रों ने कहा कि कश्मीर में धारा 370 समाप्त होने के बाद पाकिस्तान ने घुसपैठ की कोशिश और हथियारों का जखीरा भेजने की कवायद पंजाब सीमा से लेकर जम्मू और कश्मीर से सटी सीमाओं पर की हैं, लेकिन अत्याधिक सतर्कता और पाकिस्तान को उसी की भाषा में जवाब देकर उसकी ज्यादातर रणनीति विफल की गई है।
00 चीनी हथियार जुटा रहा पाक :
सूत्रों ने कहा कि खुफिया एजेंसियों के पास इस तरह के इनपुट हैं कि पाकिस्तानी आतंकियों को ज्यादा घातक हथियारों से लैस करने की कोशिश भी की जा रही है। पाकिस्तान सीमा पार से आतंक परोसने में चीन की भी मदद ले रहा है। चीन से इस तरह के हथियार लिए जा रहे हैं, जो आतंकियों को घाटी में अस्थिरता और आतंक के लिए सप्लाई किए जा सकें।